बी ए - एम ए >> बीए सेमेस्टर-2 राजनीति विज्ञान बीए सेमेस्टर-2 राजनीति विज्ञानसरल प्रश्नोत्तर समूह
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बीए सेमेस्टर-2 राजनीति विज्ञान - सरल प्रश्नोत्तर
महत्त्वपूर्ण तथ्य
किसी भी संगठन को तब तक राजनीतिक दल नहीं कहा जा सकता जब तक कि वह सत्ता प्राप्ति के लिए प्रयत्नशील न हों।
सत्ता प्राप्त करना ही राजनीतिक दलों का मूख्य उद्देश्य होता है।
गिल क्राइस्ट के अनुसार, “राजनीतिक दल नागरिकों के उस संगठित समुदाय को कहते हैं जिनके सदस्य -
(अ) समान राजनीतिक विचार रखते हों और
(ब) जो राजनीतिक इकाई के रूप में कार्य करते हों
(ग) शासन को अपने हाथ में लेने की चेष्टा करते हैं।
ब्राइस के अनुसार, "राजनीतिक दल ऐच्छिक सदस्यता के आधार पर संगठित ऐसे समुदाय होते हैं जो अपनी पूरी शक्ति को राजनीतिक सत्ता हथियाने में प्रयुक्त करते रहते हैं।
प्रजातंत्र के अतिरिक्त निरंकुश तंत्र में भी राजनीतिक दलों का विशेष महत्व होता है।
प्रजातांत्रिक देशों में शासन का मुख्य आधार राजनीतिक दल ही होते हैं।
दलीय व्यवस्था सामान्यतः तीन प्रकार की होती है
1. एक दलीय व्यवस्था
2. द्विदलीय व्यवस्था तथा
3. बहुदलीय व्यवस्था।
ब्राइस के अनुसार लोकतंत्र में राजनीतिक दल अनिवार्य है।
लास्की का कथन है- "राजनीतिक दल देश में अधिनायकवाद से हमारी रक्षा करने में सर्वश्रेष्ठ कवच है।
राजनीतिक दलों के अत्यधिक महत्व के कारण ही इसे अदृश्य सरकार तथा शासन का चतुर्थ अंश कहा जाता है।
राजनीतिक दलों के अनेक कार्य होते हैं यथा
1. सार्वजनिक नीतियों का निर्धारण
2. शासन संचालन
3. शासन पर नियंत्रण
4. शासन तथा जनता के बीच की कड़ी
5. राजनीतिक प्रशिक्षण देना
6. देश की व्यवस्था में एकरूपता लाना
7. उम्मीदवारों का चयन करना
8. सामाजिक तथा सांस्कृतिक कार्य
9. दलीय कार्य
फाइनर के अनुसार,“दलों के बिना मतदाता या तो नपुंसक हो जायेंगे या विनाशकारी जो ऐसी असंभव नीतियों का अनुमान करेंगे जिससे राजनीतिक तंत्र ध्वस्त हो जायेगा।
राजनीतिक दलों में अनेक विशेषतायें पायी जाती हैं- यथा
1. संगठन
2. सिद्धांतों में एकता
3. सत्ता प्राप्ति की आकांक्षा
4. राष्ट्रीयहित।
राजनीतिक दल का उद्देश्य राष्ट्रीय हित की अभिवृद्धि होना चाहिए। यदि कोई संगठन वर्ग, जाति या सम्प्रदाय विशेष का हित साधन करता है तो सही मायने में वह राजनीतिक दल नहीं केवल एक गुटमात्र है। अतः प्रत्येक अच्छा राजनीतिक दल राष्ट्रीयहित की अभिवृद्धि के लिए ही कार्य करता है।
ब्राइस के अनुसार, "राजनीतिक दल अनिवार्य है, कोई भी बड़ा स्वतन्त्र देश इसके बिना नहीं रह सकता है। किसी व्यक्ति ने यह नहीं बताया है कि प्रजातंत्र उनके बिना कैसे चल सकता है। "
दल पद्धति में अनेक दोष भी हैं यथा-
1. राष्ट्रीय एकता के लिए घातक
2. व्यक्ति की स्वतन्त्रता का अन्त
3. योग्य व्यक्तियों का अभाव
4. निरंकुश सत्तारूढ़ दल
5. भ्रष्टाचार को प्रोत्साहन
6. पूँजीपतियों का वर्चस्व |
एम. एन. राय के अनुसार, “राजनीतिक दलों के सिंहासन पर पूँजीपति अथवा उसके ऐजेंट ही आसीन होते हैं।
ब्राइस के अनुसार, “दल-संगठन ही वैधानिक सरकार को जन्म, शक्ति और गति देकर उसे परिचालित करते हैं। "
द्विदलीय व्यवस्था में संसदीय व्यवस्था का सहज कियान्वयन संभव होता है। एक दल सत्ता में होता है और दूसरा विपक्ष की भूमिका में।
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- अध्याय -1 राजनीति विज्ञान : परिभाषा, प्रकृति एवं क्षेत्र
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 2 राजनीतिक विज्ञान की अध्ययन की विधियाँ
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 3 राजनीति विज्ञान का अन्य सामाजिक विज्ञानों से संबंध
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 4 राजनीतिक विज्ञान के अध्ययन के उपागम
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 5 आधुनिक दृष्टिकोण : व्यवहारवाद एवं उत्तर-व्यवहारवाद
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 6 आधुनिकतावाद एवं उत्तर-आधुनिकतावाद
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 7 राज्य : प्रकृति, तत्व एवं उत्पत्ति के सिद्धांत
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 8 राज्य के सिद्धान्त
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 9 सम्प्रभुता : अद्वैतवाद व बहुलवाद
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 10 कानून : परिभाषा, स्रोत एवं वर्गीकरण
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 11 दण्ड
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 12 स्वतंत्रता
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 13 समानता
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- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
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- अध्याय - 14 न्याय
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- अध्याय - 15 शक्ति, प्रभाव, सत्ता तथा वैधता या औचित्यपूर्णता
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
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- अध्याय - 16 अधिकार एवं कर्त्तव्य
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- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 17 राजनीतिक संस्कृति, राजनीतिक सहभागिता, राजनीतिक विकास एवं राजनीतिक आधुनिकीकरण
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 18 उपनिवेशवाद एवं नव-उपनिवेशवाद
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 19 राष्ट्रवाद व सांस्कृतिक राष्ट्रवाद
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
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- अध्याय - 20 वैश्वीकरण
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- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 21 मानवाधिकार
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- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
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- अध्याय - 22 नारीवाद
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- अध्याय - 23 संसदीय प्रणाली
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 24 राष्ट्रपति प्रणाली
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- अध्याय - 25 संघीय एवं एकात्मक प्रणाली
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
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- उत्तरमाला
- अध्याय - 26 राजनीतिक दल
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 27 दबाव समूह
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 28 सरकार के अंग : कार्यपालिका, विधायिका एवं न्यायपालिका
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 29 संविधान, संविधानवाद, लोकतन्त्र एवं अधिनायकवाद .
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 30 लोकमत एवं सामाजिक न्याय
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला
- अध्याय - 31 धर्मनिरपेक्षता एवं विकेन्द्रीकरण
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
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- उत्तरमाला
- अध्याय - 32 प्रतिनिधित्व के सिद्धान्त
- महत्त्वपूर्ण तथ्य
- वस्तुनिष्ठ प्रश्न
- उत्तरमाला